पश्चिमांचल विद्युत वितरण निगम लि0 के अन्तर्गत बिजली व्यवस्था को सुदृढ़ करने के लिये कार्य योजनाएं एवं अन्य सुधार




👉 899.22 करोड़ से सुदृढ़ होगी विद्युत व्यवस्था
👉 उपभोक्ताओं को मिलेगी सुचारू रूप से निर्बाध विद्युत आपूर्ति
👉 विद्युत व्यवधान, लो-वोल्टेज, परिवर्तकों की क्षतिग्रस्तता में कमी आने से उपभोक्ताओं को विद्युत आपूर्ति में होगा गुणात्मक सुधार
👉 विद्युत चोरी पर प्रभावी अंकुश लगेगा। लाईन हानियों में कमी आयेगी तथा राजस्व वसूली में वृद्धि होगी
👉 विद्युत लाईनों एवं परिवर्तकों की अतिभारिता के कारण नये विद्युत संयोजनों को निर्गत करने में आ रही परेशानी को दूर किया जा सकेगा
👉 विद्युत दुर्घटनाओं की सम्भावना में कमी आयेगी 
विद्युत आपूर्ति में गुणात्मक सुधार के लिये बिजनेस प्लान मद में 899.22 करोड़ रुपये स्वीकृत किये गये है। विद्युत प्रणाली उच्चीकरण/सुदृढ़ीकरण कार्यो के लिए सभी 14 जनपदों में व्यापक कार्य योजना तैयार की गयी हैं। अब तक 09 नग 33/11 केवी बिजलीघरों की क्षमतावृद्धि, विभिन्न क्षमता के 466 नये परिवर्तकों की स्थापना, विभिन्न क्षमता के 3201 वितरण परिवर्तकों की क्षमतावृद्धि, 214 बिजलीघरों के जर्जर तार, पोल इत्यादि को बदल दिया गया है। बिजनेस प्लान मद में स्वीकृत किये गये उपरोक्त शेष कार्यों को पूरा करने के लिये युद्ध स्तर पर कार्य किया जा रहा है। 
    मैनेजिंग डायरेक्टर, श्रीमती चैत्रा वी. ने बताया कि इन सब कार्यों के पूर्ण हो जाने के पश्चात्, डिस्काॅम के सभी 14 जनपदों में उपभोक्ताओं को विद्युत आपूर्ति में गुणात्मक सुधार आयेगा। उपभोक्ताओं को अनवरत विद्युत आपूर्ति संभव हो सकेगी। जहां एक ओर परिवर्तकों की क्षतिग्रस्तता दर में कमी आने से राजस्व में वृद्धि होगी वहीं विद्युत व्यवधान की संख्या एवं अवधि में कमी तथा लो-वोल्टेज की समस्या दूर होगी। उपभोक्ताओं को बढ़ी राहत मिलेगी। विद्युत चोरी पर प्रभावी अंकुश लगेगा, लाईन हानियों में कमी आयेगी तथा राजस्व वसूली में वृद्धि होगी। विद्युत लाईनों एवं परिवर्तकों की अतिभारिता के कारण नये विद्युत संयोजन निर्गत करने में आ रही परेशानी को दूर किया जा सकेगा। झटपट एवं निवेश मित्र योजना के तहत नये संयोजन निर्गत कर, राजस्व में वृद्धि होगी तथा विद्युत दुर्घटना की संभावना में कमी आयेगी। उपभोक्ताओं को बेहतर विद्युत आपूर्ति प्रदान करने के लिये विद्युत आपूर्ति में भी गुणात्मक सुधार संभव हो सकेगा।
        भारत सरकार एवं उ0प्र0 सरकार की महत्वकांशी योजना रिवैम्पड डिस्ट्रीब्यूशन सेक्टर स्कीम (Reformed Based and result link revamped Distribution sector scheme) विद्युत वितरण तंत्र को सुदृढ़ करने के लिए यह योजना मील का पत्थर साबित होगी। योजना को धरातल पर उतारने के लिये समस्त 14 जनपदों में कार्य प्रगति पर है। योजना के अन्तर्गत अब तक अधिक लाईन हानियों वाले क्षेत्रों में 5908.43 सर्किट कि0मी0 एल0टी0 ए0बी0 केबिल लगाने का कार्य पूर्ण कर लिया गया है। 25.86 सर्किट कि0मी0 33 के0वी0 जर्जर तारों को बदला गया है। 991.63 सर्किट कि0मी0 11 के0वी0 तारो को बदला गया है। कृषि पोषकों को अलग करने के लिए नये पोल लगाकर,  857.66 सर्किट कि0मी0 11के0वी0 फीडर्स पर तार लगाने का कार्य पूर्ण कर लिया गया है। किसानों को कृषि और घरेलू उपभोक्ताओं को सतत विद्युत आपूर्ति सुनिश्चित करने के लिए फीडर विभक्तीकरण योजना के अन्तर्गत ग्रामीण क्षेत्रो के घरेलू और कृषि पम्प के लिए अलग सप्लाई हेतु नये पोल लगाकर, 167.82 सर्किट कि0मी0 11के0वी0 पर नये तार लगाने का कार्य पूर्ण कर लिया गया है। 14 नग 25 के0वी0ए0 ट्रांसफार्मर, 14 नग 63 के0वी0ए0 ट्रांसफार्मर, 04 नग 100 के0वी0ए0 ट्रांसफार्मर एवं 119134 विद्युत पोल बदलने का कार्य किया जा चुका है।
     प्रबन्ध निदेशक ने बताया कि राजस्व वसूली के सभी लक्ष्य हर हाल में प्राप्त किये जायेंगे। इस वित्तीय वर्ष में निरन्तर सकारात्मक वृद्धि दर्ज की जा रही है। राजस्व वसूली के रिकार्ड प्राप्ति से उपभोक्ताओं से सम्बन्धित योजनाओं का क्रियान्वयन निगम द्वारा, बेहतर रूप से किया जा सकेगा। योजनाओं के क्रियान्वयन में तेजी आयेगी एवं सिस्टम को मजबूत बनाने में मदद मिलेगी जिससे कि उपभोक्ताओं को बेहतर बिजली के साथ-साथ हाईटेक सुविधायें भी भविष्य में दिया जाना संभव हो सकेगा।
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