पूर्व विधायक बशीर अहमद का निधन


👉 छह बार पालिकाध्यक्ष भी रहे, जनाजे में उमड़ी लोगों की भीड़

कैराना। पूर्व विधायक बाबू बशीर अहमद का शनिवार रात बीमारी के चलते पानीपत के हॉस्पिटल में निधन हो गया। वह 92 वर्ष के थे। उनके निधन से क्षेत्र में शोक की लहर दौड़ गई। दिवंगत छह बार पालिकाध्यक्ष भी रहे। जनाजे में सपा विधायक नाहिद हसन सहित बड़ी संख्या में लोग शामिल रहे।
      नगर के मोहल्ला खैलकलां निवासी पूर्व विधायक एवं पूर्व पालिकाध्यक्ष बाबू बशीर अहमद को निमोनिया की शिकायत के चलते हरियाणा के पानीपत में एक हॉस्पिटल में भर्ती कराया गया था। इस बीच उन्हें हृदयाघात की समस्या हुई। हॉस्पिटल में उपचार के दौरान शनिवार रात करीब 10 बजे उन्होंने अंतिम सांस ली। उनके निधन की सूचना पर क्षेत्र में शोक की लहर दौड़ गई और आवास पर बड़ी संख्या में लोगों ने अंतिम दीदार किए। दिवंगत के तीन बेटियां हैं। इकलौते बेटे नसीम का करीब 30 साल पूर्व निधन हो गया था। दिवंगत बशीर अहमद के जनाजे की नमाज प्राचीन ईदगाह परिसर में जामा मस्जिद के खतीब मौलाना ताहिर हसन ने अदा कराई‌। इसके बाद खुरगान रोड स्थित कब्रिस्तान में सुपुर्द—ए—खाक कर दिया गया। उनके जनाजे में सपा विधायक नाहिद हसन, कैराना पालिकाध्यक्ष शमशाद अहमद अंसारी, भाजपा नेता अनिल चौहान, पूर्व चेयरमैन राशिद अली, भाजपा नेता अनुज चौहान आदि मौजूद रहे।
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👉 यह रहा बशीर का राजनीतिक सफर
बताते हैं कि बाबू बशीर अहमद के पिता चौधरी शाहदीन 1963 से 1979 तक ब्लॉक प्रमुख रहे थे। बशीर अहमद 1964 में पहली बार पालिकाध्यक्ष बने थे। इसके बाद 1966 में कार्यवाहक पालिकाध्यक्ष रहे। फिर 1967 में फिर से वह पालिकाध्यक्ष निर्वाचित हुए थे। इसी पद पर 1975 में उन्हें कार्यवाहक बनाया गया। इसके बाद 1977 में वह जनता पार्टी से विधायक बने थे। 1988 और 1995 में फिर से वह पालिकाध्यक्ष बने थे।
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👉 घर पहुंचे थे पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेई
1988 में छड़ियान के मैदान में एक कार्यक्रम के दौरान पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेई संबोधन के लिए पहुंचे थे। वह नवरात्र के चलते व्रत से थे। इसके बाद भी वह बाबू बशीर के आवास पर पहुंचे और उनके साथ चाव से भोजन ग्रहण किया था। उस समय उन्होंने लजीज खाने की तारीफ भी की थी।
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